नोटबंदी (demonetisation) को लेकर दायर एक याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट (supreme court) ने केंद्र और भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) को नोटिस जारी किया है. 5 जजों की संविधान पीठ इस मामले की सुनवाई कर रही है.
बेंच ने सरकार और आरबीआई से सवाल पूछा है कि किस कानून के तहत 1000 और 500 रुपये के नोट बंद किए गए थे. साथ ही हलफनामे में अपने जवाब दाखिल करने को कहा है.
हमे लक्ष्मण रेखा पता है
सुनवाई के दौरान तल्ख टिप्पणी करते हुए शीर्ष अदालत ने कहा कि उन्हें लक्ष्मण रेखा पता है. सुप्रीम कोर्ट की संज्ञान में जो विषय आएंगे हम उनका पता जरुर लगाएंगे. साथ ही कोर्ट ने कहा कि हम यह पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं कि यह मामला केवल ‘अकादमिक’ कवायद तो नहीं था.
इससे पहले मामले में सुनवाई करते हुए कोर्ट ने नोटबंदी के मामले में सुनवाई करने से इंकार कर दिया था. उस वक्त कोर्ट ने कहा था कि उनके पास और भी महत्वपूर्ण मामले है जिनकी सुनवाई जरूरी है,
पांच-सदस्यीय पीठ कर रही सुनवाई
जस्टिस एस. अब्दुल नज़ीर की अध्यक्षता वाली पांच-सदस्यीय पीठ इस मामले की सुनवाई कर रही है. पीठ में जस्टिस बीआर गवई, जस्टिस ए एस बोपन्ना, जस्टिस वी रमासुब्रमण्यम और जस्टिस बीवी नागरत्ना भी शामिल है.
बता दें कि साल 2016 में मोदी सरकार ने 500 और 1000 के नोटों पर बैन लगा दिया था. सरकार का कहना था कि इससे बैंकों में पड़ा काला धन बाहर आएगा. नोटबंदी के बाद साल 2016 में विवेक शर्मा ने याचिका दाखिल कर सरकार के फैसले को चुनौती दी.
इसके बाद 58 और याचिकाएं दाखिल की गईं, जिसमें से सिर्फ तीन याचिकाओं पर ही सुनवाई हो रही थी. अब सभी 58 याचिकाओं पर एक साथ सुनवाई होगी. वहीं इस मामले में केंद्र की ओर से सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता पेश हुए. उन्होंने ने कहा कि अकादमिक मुद्दों पर अदालत का समय ‘‘बर्बाद’’ नहीं करना चाहिए.
Last Updated on October 13, 2022 9:29 am