Bihar Floor Test: बिहार में नीतीश कुमार के नेतृत्व वाली राजग सरकार ने सोमवार को विधानसभा में विश्वास मत हासिल कर लिया. सरकार के पक्ष में 129 वोट पड़े. आरजेडी के तीन विधायकों ने क्रॉस वोटिंग की. वहीं कांग्रेस, लेफ्ट और आरजेडी के सदस्यों ने सदन से वॉकआउट किया. विश्वास मत पर चर्चा के दौरान राष्ट्रीय जनता दल (RJD) के तीन सदस्य विधानसभा में सत्ता पक्ष के विधायकों के पास जाकर बैठ गए. राजद नेता तेजस्वी यादव ने विधानसभा अध्यक्ष अवध बिहारी चौधरी के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव पर मतदान से पहले पार्टी विधायकों चेतन आनंद, नीलम देवी और प्रह्लाद यादव के सत्तारूढ़ राजग के सदस्यों के बीच बैठने पर आपत्ति जताते हुए व्यवस्था का प्रश्न उठाया. हालांकि, आसन पर मौजूद उपाध्यक्ष महेश्वर हजारी ने व्यवस्था के प्रश्न पर कोई फैसला नहीं दिया.
विश्वास मत जीतने के बाद, नीतीश कुमार ने सदन में कहा कि वह बिहार के लोगों के लिए काम करना जारी रखेंगे और राज्य के विकास के लिए प्रयास करेंगे. उन्होंने विपक्षी दलों से भी राज्य के विकास में सहयोग करने का आग्रह किया. सीएम नीतीश कुमार ने कहा, अब हम अपनी पुरानी जगह आ गए हैं. अब चिंता मत कीजिए, अबकी बार सब दिन के लिए आए हैं. हम किसी का नुकसान नहीं करेंगे. आप सबके हित के लिए काम करेंगे. आप जिस कम्यूनिटी की बात करते हैं उनके लिए भी काम करते हैं करते रहेंगे.
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नीतीश कुमार ने आगे कहा, “जब ये लोग (कांग्रेस और RJD) साथ थे तो हमने बाक़ी सब लोगों को एकजुट करने के लिए यहां पर बैठक भी की… मैंने इतने दिनों मेहनत की और मैं सबको एकजुट कर रहा था लेकिन कुछ हुआ? कांग्रेस पार्टी को डर लग रहा था. हम बार-बार कह रहे थे कि बाक़ी पार्टियों को एकजुट कीजिए… हमें बाद में पता चला कि इनके (तेजस्वी यादव) पिता भी उनके (कांग्रेस) साथ हैं तब मुझे पता चला कि कुछ होने वाला नहीं है और फिर मैं अपनी पुरानी जगह (NDA)पर आ गया. जहां मैं बहुत पहले था…”
वहीं RJD पर हमला करते हुए बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि बिहार में राष्ट्रीय जनता दल के शासन के दौरान पार्टी भ्रष्ट आचरण में लिप्त थी और राजग के नेतृत्व वाली नई राज्य सरकार इसकी जांच कराएगी. उन्होंने यह भी दावा किया कि राजद के कार्यकाल के दौरान बिहार में कई सांप्रदायिक दंगे हुए. उन्होंने कहा, ‘‘(RJD शासनकाल में) कोई कानून-व्यवस्था नहीं थी. 2005 से पहले राजद अपने शासनकाल के दौरान भ्रष्ट आचरण में लिप्त था…मैं इसकी जांच कराऊंगा.”
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इससे पहले बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री और RJD नेता तेजस्वी यादव ने कहा, “कर्पूरी ठाकुर को भारत रत्न मिला, बहुत खुशी की बात है. कर्पूरी ठाकुर और मेरे पिता(लालू यादव) के साथ आप(नीतीश कुमार) काम कर चुके हैं… आपको तो ये पता था कि जब कर्पूरी ठाकुर ने आरक्षण बढ़ा दिया तो जनसंघ वालों ने ही कर्पूरी ठाकुर को मुख्यमंत्री पद से हटाया… आप कर्पूरी ठाकुर का नाम लेते हैं, फिर भी आप कहां बैठ गए… वही भाजपा और जनसंघ वाले कहते थे कि आरक्षण कहां से आएगा?…”
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तेजस्वी यादव ने कहा, “मैं राज्य का उपमुख्यमंत्री था, तो नीतीश कुमार जी को मुझे बताना चाहिए था कि वह अलग होने जा रहे हैं. लेकिन इस बार तो आप अकेले ही राज्यपाल से मिलने चले गए. लेकिन आपने जो मोदी सरकार के खिलाफ झंडा उठाया था, उसे आपका भतीजा बिहार में बुलंद रखेगा और भाजपा को रोकेगा.
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उन्होंने कहा, ‘नीतीश कुमार की हम हमेशा इज्जत करते हैं और करते रहेंगे. इनके साथ हमने काम किया. ये कहते रहे कि मुझे अपना बेटा मानते थे. ये राम की बात करते हैं… मैं दशरथ के रूप में नीतीश कुमार को अपने पिता के तौर पर देखता हूं. नीतीश कुमार की भी राजा दशरथ की तरह कुछ मजबूरियां रही होंगी. दशरथ राम को वनवास नहीं भेजना चाहते थे लेकिन कैकेयी की वजह से मजबूर हुए. नीतीश जी को भी कैकेयी को पहचानना होगा.
Last Updated on February 12, 2024 12:53 pm