Pahalgam Terrorist Attack: कश्मीर में पिछले 35 साल की मिलिटेंसी में ऐसा बहुत कम हुआ है कि टूरिस्ट को निशाना बनाया गया हो. हालांकि पिछले साल जयपुर के एक सैलानी कपल पर फायर किया गया था लेकिन वो फेटल नहीं था. इसके अलावा 2017 में अमरनाथ जा रही बस एक एनकाउंटर में क्रॉस फायर की चपेट में आ गई थी, इसमें सात सिविलियन मारे गए थे. लेकिन टूरिस्ट के टार्गेटेड किलिंग की इतनी बड़ी घटना का इतिहास नहीं मिलता.
तो क्या हमारी इंटेलिजेंस एजेंसिज के पास कोई खबर नहीं थी?
पिछले दो महीने से कश्मीर में सोशल मीडिया पर एक कैंपेन रन हो रहा था. इसमें टूरिस्ट प्लेस पर सड़क किनारे पड़े शराब की बोतल और कुछ सैलानियों की रील्स को हाईलाइट करके कहा जा रहा था कि इस तरह की हरकतें कश्मीर के कल्चर को ख़राब कर रही हैं. शराब की खाली पड़ी बोतल के जरिए धार्मिक भावनाओं को भी भड़काया जा रहा था.
इंटेलिजेंस एनालिस्ट इस कैंपेन पर नजर बनाए हुए थे. यह फिलर भी मिल रहे थे कि टूरिस्ट टारगेट बनाए जा सकते हैं. लेकिन इस मामले में एक्शनेबल इंटेलिजेंस नहीं था.
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#Pahalgam अमरनाथ यात्रा के रूट में पड़ता है. दो दिन पहले अमरनाथ यात्रा का रास्ता खोलने की कवायद हो रही थी. इस दौरान कुछ संदिग्ध कम्युनिकेशन डिवाइस लोकेट हुए थे. लेकिन यह किसी ऑपरेशन के किए पर्याप्त इंटेलिजेंस नहीं थी.
कुल जमा मामला यह है कि इंटेलिजेंस एनालिसिस से यह तो साफ़ था कि टूरिस्ट आतंकी हमले का शिकार हो सकते हैं लेकिन होने वाली वारदात के बारे में कोई ठोस इंटेल नहीं थी.
पत्रकार-रिपोर्टर vinay sultan के एक्स पेज (@vinay_sultan) से…
Last Updated on April 23, 2025 8:01 pm