बीजेपी ने आने वाले राष्ट्रपति चुनाव (Presidential polls 2022) के लिए अपना उम्मीदवार घोषित कर दिया है. बीजेपी की ओर से आदिवासी नेता द्रौपदी मुर्मू उम्मीदवार होगीं. मंगलवार को पार्टी अध्यक्ष जे पी नड्डा (J P Nadda) ने उनकी उम्मीदवारी की घोषणा की.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह, केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री नितिन गडकरी और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान सहित संसदीय बोर्ड के अन्य सदस्य संसदीय बोर्ड की बैठक में शामिल हुए.
पहली आदिवासी राष्ट्रपति होंगी मुर्मू
मुर्मू इस पद के लिए चुने जाने के बाद पहली आदिवासी राष्ट्रपति होंगी. वहीं वे इस पद को पाने वाली दूसरी महिला राष्ट्रपति होंगी. उनका नाम साल 2017 में राष्ट्रपति पद के दावेदारी के लिए भी नामित किया गया था. लेकिन बीजेपी ने रामनाथ कोविंद को नामित किया था.
यहां तक पहुंचने के लिए द्रौपदी मुर्मू ने बेहद लंबा और मुश्किल सफर तय किया है. वे ओडिशा में सिंचाई और बिजली विभाग में एक कनिष्ठ सहायक रही.
संथाल समुदाय में जन्मीं मुर्मू ने 1997 में रायरंगपुर नगर पंचायत में एक पार्षद के रूप में अपना राजनीतिक जीवन शुरू किया और वह वर्ष 2000 में ओडिशा सरकार में मंत्री बनीं.
2015 में झारखंड की राज्यपाल रहीं
उन्होंने 2015 में झारखंड के राज्यपाल पद की जिम्मेदारी भी संभाली. रायरंगपुर से दो बार विधायक रहीं मुर्मू ने 2009 में तब भी अपनी विधानसभा सीट पर कब्जा जमाया था, जब बीजद ने राज्य के चुनावों से कुछ हफ्ते पहले भाजपा से नाता तोड़ लिया था, जिसमें मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की पार्टी बीजद ने जीत दर्ज की थी.
परेशानियों में गुजरा जीवन
द्रौपदी मुर्मू का जन्म 20 जून 1958 को हुआ था. मुर्मू झारखंड की पहली महिला राज्यपाल बनने का गौरव भी रखती हैं. बेहद पिछड़े और दूरदराज के जिले से ताल्लुक रखने वालीं मुर्मू ने गरीबी और अन्य समस्याओं से जुझते हुए भुवनेश्वर के रमादेवी महिला कॉलेज से कला में स्नातक किया और ओडिशा सरकार के सिंचाई और बिजली विभाग में एक कनिष्ठ सहायक के रूप में अपना करिअर शुरू किया था.
मुर्मू को साल 2007 में ओडिशा विधानसभा द्वारा वर्ष के सर्वश्रेष्ठ विधायक के लिए नीलकंठ पुरस्कार से सम्मानित किया गया था. उनके पास ओडिशा सरकार में परिवहन, वाणिज्य, मत्स्य पालन और पशुपालन जैसे मंत्रालयों को संभालने का अनुभव है.
बेहद परेशानियों भरा रहा निजी जीवन
मुर्मू का विवाह श्याम चरण मुर्मू से हुआ और दंपती के तीन संतान- दो बेटे और एक बेटी हुईं. मुर्मू का जीवन व्यक्तिगत त्रासदियों से भरा रहा है क्योंकि उन्होंने अपने पति और दोनो बेटों को खो दिया है.
विपक्ष ने भी चुना अपना उम्मीदवार
वहीं कांग्रेस, तृणमूल कांग्रेस TMC और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी NCP सहित कई प्रमुख विपक्षी दलों ने राष्ट्रपति चुनाव के लिए मंगलवार को पूर्व केंद्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा को अपना उम्मीदवार चुना. राष्ट्रपति पद के लिए 18 जुलाई को चुनाव होने हैं और परिणाम 21 जुलाई को आएगा.
राष्ट्रपति चुनाव में उम्मीदवार पर फैसला करने के लिए एनसीपी प्रमुख शरद पवार द्वारा बुलाई गई बैठक में संसद भवन में एकत्रित हुए विपक्षी दलों के नेताओं ने सिन्हा के नाम पर सहमति जताई. वरिष्ठ नेता सिन्हा ने तृणमूल कांग्रेस छोड़ दी है और वह 27 जून को अपना नामांकन पत्र दाखिल करेंगे. सिन्हा पहले बीजेपी में थे.
कांग्रेस नेता जयराम रमेश ने बैठक के बाद एक संयुक्त बयान पढ़ते हुए कहा, ‘हमें खेद है कि मोदी सरकार ने राष्ट्रपति उम्मीदवार को लेकर आम सहमति बनाने के लिए कोई गंभीर प्रयास नहीं किया.’ उन्होंने कहा कि देश के सर्वोच्च पद के लिए सर्वसम्मति से उम्मीदवार बनाए जाने की पहल सरकार द्वारा की जानी चाहिए थी.
Last Updated on June 22, 2022 8:17 am